जीएन गोल्ड जी एन डी इंडिया सहित चिटफंड कंपनी के घोटाले को लेकर 2016 में भी मंगाए थे आवेदन : कांग्रेस

पंडित रघुनंदन समाधिया प्रधान संपादक मां भगवती टाइम्स


देवास । चिटफंड कंपनी जी एन डेयरी और जी लाइफ में लोगों ने 200 रुपये एवं 500 रुपये प्रति माह के हिसाब से पैसा जमा संग्रह के लिए किए थे  लेकिन जब लोगों को पैसे मिलने की तारीख पूरी हुई उसके पहले ही जीएन डेयरी सहित अन्य कंपनियों ने अपने दफ्तर बंद कर दिए वही उसके एजेंट भी भूमिगत हो गए । 


पैसा नहीं मिलने की दशा में लोगों ने 2016 में पदस्थ कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी को इसकी शिकायत की अनेक संस्थाओं ने भी सामूहिक रूप से कलेक्टर कार्यालय जाकर ज्ञापन दिया तब उन्होंने इस पर संज्ञान लेते हुए जीएन डेयरी के संचालकों के खिलाफ एफ आई आर दर्ज कराई वही देवास पुलिस उन्हें गिरफ्तार करके भी लाई थी जिन्हें जेल भी भेजा गया था। कहा गया था कि इनकी संपत्ति बेचकर लोगों को पैसा दिया जाएगा ।                                    

शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष मनोज राजानी व प्रवक्ता सुधीर शर्मा ने बताया कि तब लोगों से प्रशासन द्वारा घोषणा की गई के जिन लोगों ने चिटफंड कंपनियों में पैसा लगाया है वह रसीद एवं मय प्रमाण के कलेक्टर कार्यालय के संस्थागत वित्त विभाग में दस्तावेज जमा कर दें तब लोगों ने दिसंबर माह 2016 में अपने दस्तावेज जमा किए थे। 


बावजूद आज 2023 आने तक लोगों को आज तक कोई पैसा नहीं मिला वही लोगो को यह भी नहीं पता है कि कंपनी के जिन संचालकों को जेल भेजा गया था वे जेल में है या रिहा कर दिए गए हैं अब फिर से हितग्राहियों से आवेदन मंगाए गए हैं। कांग्रेस ने मांग की है कि जिला प्रशासन के द्वारा लोगों से दूसरी बार आवेदन मंगाए गए हैं हमारा अनुरोध है कि इस बार लोगों को शीघ्र ही उनकी जमा राशि दिलाएं दिसंबर 2016 में दस्तावेज जमा कराये जाने के हमारे पास प्रमाण उपलब्ध है। 


प्रशासन चाहे तो 2016 में जो आवेदन आए हैं उन्हें भी आज की तारीख में जमा कर के उस आधार पर भी लोगों का पैसा लौटा सकते हैं नए आवेदन की आवश्यकता ही नहीं पढ़े। 8 वर्ष हो चुके हैं आवेदन दिए हो सकता है कि कई लोगों के पास आवेदन जमा करने की प्रमाणित रसीद ही नहीं हो या पैसे जमा किए उनके पेपर ही नहीं हो उन्हें भी इसका लाभ मिल जाएगा । प्रशासन के पास तो सारे पेपर सुरक्षित होंगे ही।

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